मुंबई: तमाम विवादों के बाद डेरा सच्चा सौदा के मुखिया संत गुरमीत सिंह राम-रहीम इंसान की फ़िल्म एमएसजी- द मैसेंजर ऑफ़ गॉड रिलीज़ के लिए तैयार है। इस फ़िल्म को लेकर जितनी कंट्रोवर्सी हुई है, उतनी शायद ही कभी हुई हो।
कहा जा रहा है, कि सेंसर बोर्ड की अध्यक्ष लीला सैमसन के इस्तीफ़े के पीछे एमएसजी की क्लियरेंस भी एक वजह है, जिसे पहले उन्होंने सर्टिफिकेट देने से मना कर दिया था। लेकिन फ़िल्म सर्टिफिकेशन एपेलेट ट्रिब्यूनल ने इस हरी झंडी दे दी।
इस कंट्रोवर्सी के बाद पहली बार संत गुरमीत सिंह ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। मुंबई में फ़िल्म के प्रचार-प्रसार को आए बाबा ने कहा- “क्या आपको ऐसा लगता है बेटा, कि मूवी के ट्रेलर में ऐसा कुछ है, कि किसी को पोस्ट छोड़ देनी चाहिए। ये हमारे भी समझ में नहीं आया, कि उन्होंने छोड़ी क्यों? इसके पीछे कुछ और होगा। पहले उन्होंने क्या-क्या बोला ये आप लोग जानते हैं, लेकिन लास्ट में उन्होंने जो आठ कारण दिए हैं वो कुछ और ही निकले। उसमें मूवी का कोई ज़िक्र नहीं है। वो इतना बदल रहे हैं, हमें समझ नहीं आ रहा ऐसा क्यों हो रहा है। जबकि हमने तो ऐसा कुछ किया ही नहीं।”
ज़ाहिर है, कि संत गुरमीत सिंह सेंसर बोर्ड के उन आरोपों का खंडन कर रहे हैं, जिसमें सेंसर बोर्ड की पूर्वाध्यक्ष और कुछ सदस्यों ने केंद्र सरकार पर फ़िल्म को फेवर करने के आरोप लगाए थे। एमएसजी को बाबा ने खुद लिखा है, और डायरेक्शन किया है। ड्रग माफिया से लड़ाई पर बेस्ड इस फ़िल्म में संत गुरमीत सिंह ने खुद का क़िरदार पर्दे पर निभाया है।